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सामुदायिक शौचालय गुरौली का 6 महीने से सबमर्सिबल खराब। शौचालय के रखरखाव व साफ सफाई के लिए मिलने वाला पैसे को प्रधान व सचिव कर जाते हैं हजम। शौचालय की देखरेख लक्ष्मी स्वयं सहायता समूह की सविता देवी का आरोप। मानदेय से ही लाना पड़ता है शौचालय का सामान। कहीं शिकायत करने पर प्रधान व सचिव काम से निकलने की दे रहे हैं धमकी। विकासखंड कौशांबी के गुरौली गांव का मामला

सामुदायिक शौचालय में नहीं मिल रहा है रखरखाव का समान, केयरटेकर को नहीं मिलता समय पर वेतन आरोप 

 

ब्यूरो रिपोर्ट प्रभाकर मिश्र/ अखंड भारत न्यूज़ 

कौशाम्बी।विकास खंड कौशाम्बी के ग्राम पंचायत गुरौली में,सामुदायिक शौचालय के रखरखाव का सामान उपलब्ध नहीं होने के कारण,शौचालय केयरटेकर को परेशानी हो रही है। कौशाम्बी में महिला स्वयं सहायता समूह को शौचालय की देखभाल के लिए नियुक्त किया गया है, सविता देवी का कहना है कि मैं जब से शौचालय में नियुक्त हुई हूं जब मुझे समय पर न वेतन दिया गया है और न शौचालय में रखरखाव के लिए कोई भी समान नहीं दिया गया है मैं अपने वेतन से शौचालय में रखरखाव का समान लाती हूं।जब मैं ग्राम प्रधान से बोलती हूं तब ग्राम प्रधान प्रतिनिधि जितेन्द्र सिंह बोलते हैं उसी छ: हजार रुपए में रखरखाव का पैसा है। कभी तीन महीने में एक महीने का पैसा खाते डाल देते हैं जब हम उनसे बोलते हैं कि हमारा हर महीने का वेतन दिया करो तब प्रधान प्रतिनिधि जितेन्द्र सिंह कहते हैं कि जो मिले ले लो नहीं हम दूसरे को नियुक्त कर देंगे।और सामुदायिक शौचालयों के रखरखाव के लिए आवश्यक सामान (जैसे साबुन, सफाई के उपकरण, आदि) की कमी के कारण केयरटेकर को परेशानी हो रही है। केयरटेकर को उनका मानदेय भी समय पर नहीं मिल रहा है, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति प्रभावित हो रही है।पंचायत राज विभाग की उदासीनता के कारण भी यह समस्या बनी हुई है, क्योंकि वे समय पर आवश्यक सामान उपलब्ध नहीं करा पा रहे हैं।

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सामुदायिक शौचालयों के रखरखाव के लिए स्वयं सहायता समूहों को जिम्मेदारी सौंपी गई है, लेकिन उन्हें आवश्यक सामान उपलब्ध नहीं हो पा रहा है।और न कोई कर्मचारी भी ध्यान नहीं दे रहे हैं। इसलिए गुरौली केयर टेकर ने अपना आपबीती सुनाई कहा कि मैं कहां तक अपने पैसे से रखरखाव का समान लाऊंगी। कि मैं अपने घर के खर्चे चलाओ।

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