● रैदास जी की समता की संकल्पना आधुनिक भारत के संविधान की संकल्पना और न्याय की चाह है
● हरदोई के तेरिया भवानीपुर में आयोजित हुई संत रैदास व संत गाडगे की जयंती
● एजेंडा यू. पी. पर चर्चा, जनता के जीवन से जुड़े सवालों को बढ़ाएंगे आगे
लखनऊ उत्तर प्रदेश।
वक्ताओं ने कहा कि आज कॉर्पोरेट हिंदुत्व गठजोड़ द्वारा देश में चल रही तानाशाही के राज्य के खिलाफ रैदास जी की रचना बेगमपुरा जन राजनीति के राज्य का प्रमाणिक दस्तावेज है। समता, स्वतंत्रता बंधुत्व और न्याय की जो भावना संविधान में कही गई है और लोकतंत्र व धर्मनिरपेक्षता की जो बातें है यही संकल्पना रैदास जी की है। वक्ताओं ने कहा कि देश की पूरी संपत्ति को चंद कॉर्पोरेट घरानों के हवाले करके मोदी सरकार उसकी एजेंट बनी हुई है और इसीलिए किसानों से किया हुआ वादा वह पूरा नहीं कर रही है। उलटे एमएसपी पर कानून बनाने की जगह किसानों पर दमन और उत्पीड़न करने में पूरी ताकत लगा रही है। इसके खिलाफ जनता के जीवन से जुड़े हुए सभी सवालों पर एक बड़ी एकता बनानी होगी। सम्मेलन में एजेंडा यू.पी. पर चर्चा हुई और हर परिवार की एक सदस्य को सरकारी नौकरी, किसानों के लिए एमएसपी कानून, हरणभूमिहीन परिवार को एक एकड़ जमीन व आवासीय भूमि, शिक्षा व स्वास्थ्य पर बजट बढ़ाना और 12 घंटा काम के लिए लाए गए लेबर कोड को रद्द करने, लोकतांत्रिक नागरिक अधिकारों पर हमले बंद करने जैसे सवालों पर गोलबंदी करने का निर्णय लिया गया।
सम्मेलन को ऑल इंडिया पीपुल्स फ्रंट के प्रदेश महासचिव दिनकर कपूर, एचबीटीआई कानपुर के प्रोफेसर बृजेंद्र कटिहार, भागीदारी आंदोलन के पी.सी. कुरील, बैंक के सेवानिवृत अधिकारी नागेंद्र कुमार सिंह कनौजिया, भूतपूर्व प्रधानाचार्य प्रताप नारायण कनौजिया, भगत सिंह पुस्तकालय के प्रभारी कौशल किशोर यादव, वैचारिक चेतना संघ के गया प्रसाद पाल, भाकपा माले प्रभारी ओम प्रकाश, बदलाव के अभिषेक पटेल, राम विचार गौतम, शिकारी समिति के अध्यक्ष मुन्नीलाल रावत आदि ने संबोधित किया।राधेश्याम कनौजिया जिला प्रभारी ऑल इंडिया पीपुल्स फ्रंट संयोजक, मानव कल्याण एकता समिति उ. प्र.ने, कार्यक्रम की सम्पूर्ण व्यवस्था की।