सटीक आंकड़ों से योजनाएं होंगी पारदर्शी, कार्यशाला में मिली तकनीकी जानकारी

 अलीगढ़ न्यूज़

सटीक आंकड़ों से योजनाएं होंगी पारदर्शीकार्यशाला में मिली तकनीकी जानकारी

रिमोट सेंसिंग एवं जीआईएस तकनीक से होगा प्रभावी विकास कार्यान्वयन

रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन कार्यशाला सम्पन्नतकनीक से विकास योजनाओं को मिलेगी नई दिशा

एडीएम सिटी,

अलीगढ़ 23 अगस्त 2025 अपर जिलाधिकारी नगर अमित कुमार भट्ट की अध्यक्षता में कलैक्ट्रेट सभागार में रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला में रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन सेंटर के वरिष्ठ वैज्ञानिक डा0 उदयराज, डा0 कौशलेन्द्र सिंह एवं परियोजना वैज्ञानिक डा0 जय कुमार मिश्रा एवं हिमांशु कुमार द्वारा रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशंस सेंटर में विभिन्न परियोजनाओं में रिमोट सेंसिंग एवं जीआईएस तकनीक का उपयोग करके जिलेवार तैयार किए गए डिजिटल डेटाबेस का प्रस्तुतीकरण करते हुए विस्तृत जानकारी साझा की। वैज्ञानिकों द्वारा बताया गया कि मा0 मुख्यमंत्री जी के विजन के अनुसार उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था को 1 ट्रिलियन डॉलर तक पहुॅचाने के लिए विभिन्न क्षेत्रों में रिमोट सेंसिंग एवं जीआईएस तकनीक के माध्यम से कार्य किए जा रहे हैं। उदाहरण के तौर पर उन्होंने बताया कि फसलों की कटाई से पहले हम पैदावार की सटीक सूचना देते हैं, जिससे एमएसपी निर्धारण एवं भण्डारण में मदद मिलती है।

          वैज्ञानिकों एवं विषय विशेषज्ञों ने बताया कि रिमोट सेंसिंग एवं जीआईएस तकनीक का उपयोग कृषि, ग्रामीण विकास, पंचायती राज, सिंचाई, सड़क, नलकूप, जल निगम, प्राकृतिक आपदा प्रबंधन, वन एवं जलसंचयन जैसे विविध क्षेत्रों में किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि भुवन पोर्टल के माध्यम से भी जानकारियां प्राप्त की जा सकती हैं। इस तकनीक से न केवल आंकड़े एकत्रित और सुरक्षित रहते हैं, बल्कि उनमें गलती या कमी की संभावना भी न्यूनतम होती है। वर्कशॉप में प्रधानमंत्री गति शक्ति पोर्टल के माध्यम से भी विभिन्न विभागों के डाटाबेस के बारे में जानकारी दी गई।

          एडीएम सिटी ने अधिकारियों से कहा कि विकास योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन में इस तकनीक का प्रयोग करें। सटीक आंकड़े उपलब्ध होने से योजनाओं की पारदर्शिता और गुणवत्ता सुनिश्चित होगी। कार्यशाला में यह भी बताया गया कि इस तकनीक के माध्यम से वृक्षारोपण एवं वृक्ष आच्छादन की वास्तविक स्थिति का पता लगाया जा सकता है  और किसी भी कार्य के दोहराव को रोका जा सकता है। कार्यशाला में सभी जिलास्तरीय अधिकारीगण उपस्थित रहे।

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